क्या पूजा पाल के बाद अब अवधेश प्रसाद का नंबर है,
सांसद के राम मंदिर जाने से सपा हाईकमान नाराज!
1 days ago Written By: Political Desk
Uttar Pradesh News: अयोध्या से समाजवादी पार्टी के सांसद अवधेश प्रसाद ने बीते 29 नवम्बर को अपने परिवार के साथ राम मंदिर जाकर पूजा अर्चना की । वे रामलला के दर्शन के उपरांत तकरीबन 40 मिनट तक गर्भगृह में रहे । बाहर आने के बाद उन्होंने मीडिया से बात करते हुए खुद पर प्रभु राम, हनुमान और सरयू मां की कृपा बताई । सपा के अंदरूनी सूत्रों का दावा है कि अवधेश प्रसाद के राम मंदिर जाने से सपा हाईकमान नाराज हो गया है । राम मंदिर में दर्शन के बाद मीडिया में बयान बाजी कर राम मंदिर और वहां लगे केसरिया ध्वज की तारीफ़ करना अवधेश प्रसाद के गले की फांस बन गया है, सूत्र बताते हैं कि इसे लेकर सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव ने संसद के शीतकालीन सत्र से पहले अवधेश प्रसाद से नाराजगी जाहिर की थी । पार्टी हाईकमान सपा सांसद से बेहद नाराज है और अखिलेश की नाराजगी अभी खत्म नहीं हुई। अवधेश प्रसाद बड़े सपा नेताओं की मध्यस्थता में सफाई देने की कोशिशों में जुटे हैं । इसी के तहत उन्होंने अभी हाल ही में सपा प्रवक्ता और अखिलेश यादव के करीबी राजकुमार भाटी से मुलाकात की ।यह मुलाकात दिल्ली में भाटी के घर हुई । सूत्रों का कहना है कि बात अभी बन नहीं पाई है और अखिलेश ने अवधेश प्रसाद की कोशिशों को बगावत के रूप में देखा है।
बिना अनुमति केराम मंदिर जाने से इन नेताओं से भी थे अखिलेश गौरतलब है कि 22 जनवरी 2024 अयोध्या में हुए राम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम से समाजवादी पार्टी के नेताओं ने किनारा काट लिया था । इसके पीछे वजह अखिलेश यादव की नाराजगी बताई जा रही थी । सपा के जो नेता राम मंदिर में दर्शन के लिए पहुंचे थे उन पर पार्टी हाईकमान करवाई कर चुका है, सपा विधायक राकेश सिंह, अभय सिंह और पूजा पाल इसका उदाहण हैं । ऐसे में सूत्रों का कहना है अब अयोध्या सांसद अवधेश प्रसाद के भी परिवार सहित राम मंदिर जाने और वहां लगे विशाल केसरिया धवज की तारीफ़ करने से सपा सुप्रीमो खासे नाराज हैं । हांलाकि सांसद अवधेश प्रसाद और सपा नेता पवन पांडेय राम मंदिर और हनुमान गढ़ी अक्सर जाते रहते हैं । लेकिन पहली बार पार्टी लाइन से अलग जाकर अवधेश प्रसाद ने मंदिर और धर्म ध्वज की तारीफ की।
2027 में बेटे को हर हाल में विधायक बनवाना चाहते हैं अवधेश प्रसाद
इस साल के शुरुआत में अयोध्या के मिल्कीपुर सीट पर हुए उपचुनाव में सांसद अवधेश प्रसाद के बेटे अजीत प्रसाद भाजपा प्रत्याशी से हार गए थे, बेटे की हार से सांसद अवधेश प्रसाद काफी आहत भी हुए थे। इस बार 2027 में बेटे के विधायक बनाने के लिए अवधेश प्रसाद कोई कोर कसर नहीं छोड़ना चाहते हैं। उनके भाजपा के करीब जाने की भी चर्चाएं हैं। माना जा रहा है कि अवधेश प्रसाद इसके लिए पार्टी लाइन से बाहर जाकर भी कोशिशे कर सकते हैं। दूसरी ओर राम मंदिर से जुड़ी लोगों की भावनाएं और अखिलेश यादव की राम मंदिर से दूरी से अयोध्या के हिन्दुओं के मन में आक्रोश भी अवधेश प्रसाद काफी हद तक समझ चुके हैं ।
2029 में सांसदी सुरक्षित करना चाहते हैं अवधेश प्रसाद
सूत्रों की मानें तो अवधेश प्रसाद काफी धार्मिक व्यक्ति हैं, लेकिन पार्टी की नीति नियम इसमें आड़े आते हैं। अवधेश प्रसाद ये बात अच्छी तरह समझ चुके हैं कि सॉफ्ट हिंदुत्व छवि बनाकर ही अयोध्या में लोकसभा या फिर विधानसभा के चुनाव में जीत पाई जा सकती है। या फिर भाजपा का टिकट जीत की गारंटी होगा। सूत्रों की मानें तो अवधेश प्रसाद का बदला रूप इसी का एक परिणाम है। वो जानते है कि बिना सॉफ्ट हिंदुत्व छवि के अयोध्या के लोगों का समर्थन पाना मुश्किल है। हां कट्टर हिंदुत्व छवि भी मुस्लिम वोटों का नुकसान कर सकती है ऐसे में वह इनके बीच बैलेंस बनाए रखना चाहते हैं।
लिंक पर क्लिक कर देखें जब राजकुमार भाटी से मिलने पहुंचे थे अवधेश प्रसाद
राम मंदिर की तारीफ राजनीतिक रणनीति का हिस्सा
अवधेश प्रसाद ने राम मंदिर में दर्शन के बाद राम मंदिर और उसमें लगे केसरिया धवज की खूब तारीफ़ की। सूत्रों की मानें तो ये अवधेश प्रसाद की राजनीतिक रणनीति का हिस्सा है। ऐसा करके अवधेश अयोध्या के सनातनी हिन्दुओं के दिल में जगह बनाना चाहते हैं। हांलाकि अवधेश प्रसाद ने मीडिया से बातचीत के दौरान भाजपा पर निशाना साध कर सपा हाईकमान की नाराजगी से बचने की भी कोशिश जरूर की।
जो पार्टी का निर्णय होगा उसका स्वागत: राकेश त्रिपाठी
भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता राकेश त्रिपाठी का कहना है कि सांसद अवधेश प्रसाद ने राम मंदिर का दर्शन किया । लेकिन उनके भाजपा के शीर्ष नेताओं के सम्पर्क होने की फिलहाल कोई जानकारी मुझे नहीं है, लेकिन अगर वह अपनी इच्छा जाहिर करेंगे तो पार्टी शीर्ष नेतृत्व इस पर जरूर विचार करेगा। दूसरी बात हमारी पार्टी जो भी निर्णय लेगी उसका हम अभी स्वागत करेंगे। वहीं अयोध्या के भाजपा जिलाध्यक्ष संजीव सिंह का कहना है कि अवधेश प्रसाद ने पहली बार राम मंदिर का दर्शन नहीं किया है, रही बात अखिलेश यादव के नाराज होने की तो वह उस हर काम से नाराज होंगे जिससे सनातन धर्म मजबूत होगा।
अवधेश प्रसाद जी धार्मिक व्यक्ति, धर्म के काम में क्या बुराई
इस बारे में अयोध्या के समाजवादी पार्टी के जिलाध्यक्ष पारसनाथ यादव का कहना है कि पूजा पाठ, धर्म कर्म के काम में कोई राजनीति नहीं होनी चाहिए, सांसद जी कई बार राम मंदिर का दर्शन कर चुके हैं, हम लोग भी दर्शन कर चुके हैं। रही बात राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव जी की तो उन्होंने कभी किसी को राम मंदिर दर्शन से मना नहीं किया, और तो और वो खुद ही भगवान् शंकर का इतना बड़ा केदारेश्वर महादेव मंदिर बनवा रहे हैं, जिनकी पूजा तो प्रभु श्री राम स्वयं करते थे। विश्व का सबसे बड़ा कृष्ण मंदिर उन्होंने बनवाया। जिसकी जो आस्था होगी उसके अनुसार लोग दर्शन पूजा करेंगे। सपा के दूसरे तमाम नेताओं ने भी अवधेश प्रसाद को लेकर तमाम चर्चाओं को अफवाह करार दिया। सपा नेताओं का कहना है कि अवधेश प्रसाद कहीं नहीं जा रहे। वह हमेशा पार्टी में बने रहेंगे।