ट्रंप ने फिर गाए पाकिस्तान के PM शहबाज शरीफ और सेना प्रमुख मुनीर के गुण,
बोले- बहुत महान लोग हैं
2 months ago Written By: Ashwani Tiwari
Donald Trump: अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एक बार फिर पाकिस्तान की तारीफों के पुल बांधे हैं। रविवार, 26 अक्टूबर को मलेशिया की राजधानी कुआलालंपुर में आयोजित आसियान (ASEAN) समिट के दौरान उन्होंने पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और सेना प्रमुख फील्ड मार्शल आसिम मुनीर की खुलकर सराहना की। ट्रंप ने दोनों को महान लोग बताते हुए पाकिस्तान-अफगानिस्तान के बीच जारी संघर्ष को जल्द खत्म करने की इच्छा भी जताई।
मलेशिया में ट्रंप का बयान ASEAN समिट के दौरान थाईलैंड-कंबोडिया शांति समझौते पर हस्ताक्षर कार्यक्रम में बोलते हुए ट्रंप ने कहा, अब सिर्फ एक ही (युद्ध) बचा है। मैंने सुना है कि पाकिस्तान और अफगानिस्तान ने भी शुरू कर दिया है। लेकिन मैं इसे बहुत जल्द सुलझा लूंगा। मैं उन दोनों को जानता हूं। पाकिस्तान के फील्ड मार्शल आसिम मुनीर और प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ बहुत महान लोग हैं, और मुझे यकीन है कि हम इसे जल्द ही निपटा लेंगे। इस बयान के बाद अंतरराष्ट्रीय मंचों पर ट्रंप का यह वीडियो तेजी से वायरल हो गया, जहां उन्होंने एक बार फिर खुद को शांति स्थापित करने वाला नेता बताया।
ट्रंप बोले- हर महीने एक जंग खत्म की थाईलैंड-कंबोडिया संघर्ष का जिक्र करते हुए ट्रंप ने दावा किया कि उनके कार्यकाल में सिर्फ आठ महीनों में आठ बड़े युद्ध खत्म हुए। उन्होंने कहा कि उनका प्रशासन “औसतन हर महीने एक जंग खत्म कर रहा था। ट्रंप ने कहा, संघर्षों को सुलझाना एक ऐसा काम है जो मैं अच्छी तरह कर सकता हूं। अगर मैं समय निकालकर लाखों लोगों की जान बचा सकता हूं, तो इससे बड़ी बात और क्या होगी। उन्होंने आगे अपने रिकॉर्ड को ऐतिहासिक बताते हुए कहा कि उनसे पहले कोई भी अमेरिकी राष्ट्रपति इतने संघर्ष खत्म नहीं कर सका।
भारत-पाकिस्तान विवाद पर भी बोले ट्रंप ट्रंप ने अपने भाषण में एक बार फिर भारत-पाकिस्तान संघर्ष का जिक्र किया। उन्होंने याद दिलाया कि इस साल मई में उन्होंने दोनों देशों के बीच तनाव कम कराने में भूमिका निभाई थी। हालांकि, भारत ने उस दावे को खारिज करते हुए कहा था कि किसी तीसरे पक्ष की मध्यस्थता नहीं हुई थी। यह संघर्ष जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए आतंकी हमले के बाद शुरू हुआ था, जिसके जवाब में भारत ने ऑपरेशन सिंदूर चलाया था। चार दिनों की लड़ाई के बाद 10 मई को यह संघर्ष थम गया था।