जम्मू-कश्मीर विधानसभा में श्रद्धांजलि का भावुक पल,
मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने पर्यटकों की सुरक्षा में विफलता पर जताया दुख
2 days ago
Written By: Ashwani Tiwari
Jammu and Kashmir : जम्मू-कश्मीर विधानसभा में सोमवार को पहलगाम आतंकी हमले में मारे गए पर्यटकों को श्रद्धांजलि दी गई। इस दौरान मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला बेहद भावुक नजर आए। उन्होंने कहा कि एक मेजबान के तौर पर पर्यटकों की सुरक्षा मेरी जिम्मेदारी थी। मैं उन्हें सुरक्षित नहीं लौटा पाया। उमर ने दुख जताते हुए कहा कि अब मैं उनके परिजनों से कैसे माफी मांगूं, मेरे पास कोई शब्द नहीं हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि जम्मू-कश्मीर की सुरक्षा केवल चुनी हुई सरकार की जिम्मेदारी नहीं होती, लेकिन बतौर मुख्यमंत्री और पर्यटन मंत्री, मैंने ही पर्यटकों को यहां बुलाया था। उन्होंने कहा कि मेरा फर्ज था कि उन्हें सुरक्षित वापसी दूं, लेकिन मैं इसमें असफल रहा। उमर अब्दुल्ला ने कहा कि उन बच्चों से क्या कहूं, जिन्होंने अपने पिता को खून में लिपटा देखा। उस महिला को क्या जवाब दूं, जिसकी शादी को चंद दिन ही हुए थे। उन्होंने कहा कि हम कुछ दिन पहले इस सदन में बजट पर बहस कर रहे थे। सोचा था कि अगली बैठक श्रीनगर में होगी। किसी ने सोचा भी नहीं था कि हम इस त्रासदी पर चर्चा के लिए फिर मिलेंगे। उमर ने कहा कि कई विधायक ऐसे हैं जिन्होंने खुद अपने रिश्तेदारों को खोया है। इस हमले की हम सभी को निंदा करनी चाहिए और पीड़ित परिवारों के साथ संवेदना व्यक्त करनी चाहिए।
हमलों के खिलाफ विधानसभा ने सर्वसम्मति से प्रस्ताव किया पास
विधानसभा ने सर्वसम्मति से प्रस्ताव पास किया कि ऐसे हमले कश्मीरियत, देश की एकता, शांति और सद्भावना पर हमला हैं। साथ ही जम्मू-कश्मीर के लोगों द्वारा दिखाई गई एकजुटता और साहस की सराहना भी की गई। पूरे प्रदेश में शांतिपूर्ण प्रदर्शन हुए और पर्यटकों को समर्थन दिया गया। इसके अलावा विधानसभा ने केंद्र और अन्य राज्यों से आग्रह किया कि कश्मीरी छात्रों और नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करें। पाकिस्तान के खिलाफ उठाए गए कदमों का भी समर्थन किया गया। सत्र के दौरान हमले में जान गंवाने वाले टट्टू चालक सैयद आदिल हुसैन शाह को भी श्रद्धांजलि दी गई, जिन्होंने पर्यटकों को बचाने की कोशिश में अपनी जान कुर्बान कर दी।