बदायूं की आशा और ज्योति ने की एक-दूसरे से शादी,
दोनों को मुस्लिम युवकों ने नाम बदलकर प्रेम जाल में था फंसाया
1 months ago
Written By: STATE DESK
Same-Sex Marriage: बदायूं की दो युवतियों आशा और ज्योति ने मंगलवार को एक-दूसरे से शादी करके समाज को चौंका दिया। इस अनोखी शादी के पीछे उनके जीवन की ऐसी कहानियां हैं, जिन्हें सुनकर कोई भी भावुक हो सकता है। दोनों युवतियों ने अपने साथ हुए धोखे और दर्द को साझा करते हुए बताया कि अब वे साथ रहकर एक नई जिंदगी शुरू करना चाहती हैं। इनमे से एक ज्योति पूर्व में लव जिहाद का शिकार हो चुकी हैं।
तीन महीने पहले हुई थी पहली मुलाकात
मिली जानकारी के मुताबिक, आशा और ज्योति की मुलाकात तीन महीने पहले बदायूं कलेक्ट्रेट परिसर में अधिवक्ता दिवाकर के केबिन में हुई थी। बातचीत के दौरान दोनों को पता चला कि उनके साथ एक जैसा धोखा हुआ है। दोनों को मुस्लिम युवकों ने नाम बदलकर प्रेम जाल में फंसाया और बाद में छोड़ दिया। इस साझा दर्द ने उन्हें करीब ला दिया।
धीरे-धीरे दोस्ती में बदला रिश्ता
दरअसल पहली मुलाकात के बाद दोनों ने एक-दूसरे से संपर्क बनाए रखा। मोबाइल पर बातचीत बढ़ती गई और भावनात्मक जुड़ाव गहरा होता चला गया। एक-दूसरे की पीड़ा को समझने और सोच में समानता ने दोनों को एक नई दिशा दी। उन्होंने साथ जीने और मरने का फैसला किया और अपने रिश्ते को शादी का रूप दे दिया।
आशा बनीं गोलू, निभाएंगी पति की भूमिका
अलापुर कस्बे की रहने वाली आशा दिल्ली के पश्चिम विहार स्थित एक बेबी केयर सेंटर में काम करती हैं। उन्होंने शादी के बाद अपना नाम 'गोलू' रख लिया है और पति की भूमिका निभा रही हैं। आशा ने बताया कि उनका परिवार खेती करता है और मजदूरी भी करता है। नौ भाई-बहनों में वह मंझली हैं। फिलहाल उनके परिवार ने इस रिश्ते का विरोध नहीं किया है, लेकिन सामाजिक दबाव का डर बना हुआ है।
“पति जैसी हर लड़की रहती है, वैसे ही मैं गोलू के साथ रहूंगी”
इनमे से एक ज्योति, जो बदायूं के सिविल लाइंस क्षेत्र की रहने वाली हैं तथा देहरादून में गार्ड की नौकरी करती हैं। उन्होंने 9वीं तक पढ़ाई की है और परिवार की आर्थिक जिम्मेदारी खुद उठाती हैं। वह कहती हैं कि वह गोलू के साथ एक सामान्य दांपत्य जीवन जीना चाहती हैं। भविष्य में अगर संतान की आवश्यकता महसूस हुई, तो वे टेक्नोलॉजी या अन्य विकल्प अपनाएंगी।
लव जिहाद का शिकार हो चुकी हैं ज्योति
ज्योति ने अपना दर्द बयां करते हुए बताया कि सोशल मीडिया के जरिए उसकी दोस्ती एक युवक से हुई, जिसने खुद को 'सोनू' बताया। वह कलावा बांधता और तिलक लगाता था। प्यार में भरोसा कर वह उसके साथ देहरादून चली गई। वहां युवक ने उसकी नौकरी लगवाई, लेकिन उसकी सैलरी खुद खर्च करने लगा। एक दिन गलती से उसका आधार कार्ड हाथ लग गया, जिससे पता चला कि उसका असली नाम इमरान खान है और वह शामली का रहने वाला है।
अब दिल्ली में शुरू करेंगी नई जिंदगी
शादी के बाद अब दोनों युवतियां दिल्ली जाने की तैयारी कर रही हैं। वे कहती हैं कि उन्होंने काफी अत्याचार झेले हैं और अब एक-दूसरे का सहारा बनकर जीवन बिताना चाहती हैं। समाज के ताने और आलोचनाओं से बेपरवाह होकर उन्होंने एक साहसिक फैसला लिया है।