देव दिवाली देखने आए तो ध्यान रखें… घाट पर पान थूका तो तुरंत कटेगा 250 रुपए का चालान,
फोटो भी होगी वायरल
1 months ago Written By: Ashwani Tiwari
Uttar Pradesh News: वाराणसी में देव दिवाली की तैयारी पूरे जोरों पर है। प्रशासन और सरकार ने घाटों की भव्यता और स्वच्छता को लेकर विशेष इंतजाम किए हैं। काशी के चौरासी घाटों पर लाखों दीये जलने वाले हैं और देश-विदेश से लाखों श्रद्धालु यहां पहुंच रहे हैं। इस बीच, नगर निगम ने घाटों की सफाई और अनुशासन बनाए रखने के लिए सख्त कदम उठाए हैं। अब अगर कोई व्यक्ति पान-गुटखा खाकर घाट किनारे थूकेगा, तो उसे जुर्माना भरना पड़ेगा। मंगलवार को अस्सी घाट पर एक व्यक्ति पर 250 रुपये का जुर्माना लगाकर इसकी शुरुआत कर दी गई।
थूकने वालों पर लगेगा जुर्माना देव दिवाली के मौके पर गंदगी फैलाने वालों पर वाराणसी नगर निगम पूरी तरह सख्त नजर आ रहा है। अस्सी घाट पर दो लोगों से थूकने पर 250-250 रुपये का जुर्माना वसूला गया, जबकि शिवाला और हरिश्चंद्र घाट पर करीब 1500 रुपये का जुर्माना लगाया गया। नगर निगम के क्षेत्राधिकारी आनंद कुमार ने बताया कि गंदगी फैलाने वालों के खिलाफ 43 कैटेगरी बनाई गई हैं, जिनमें सड़क पर थूकना, कूड़ा फेंकना, या सार्वजनिक जगह गंदी करना शामिल है। इन सभी पर अलग-अलग राशि का जुर्माना तय किया गया है।
28 अक्टूबर से लागू हुआ स्वच्छता नियम वाराणसी नगर निगम ने 28 अक्टूबर से उत्तर प्रदेश ठोस अपशिष्ट प्रबंधन और स्वच्छता नियम 2021 को लागू कर दिया है। इसके तहत, सार्वजनिक जगह पर थूकने पर 250 रुपये, जबकि वाहन से थूकने या कूड़ा फेंकने पर 1000 रुपये का जुर्माना लगाया जाएगा। नगर निगम की टीम सभी प्रमुख घाटों अस्सी, दशाश्वमेध, मणिकर्णिका, शिवाला और हरिश्चंद्र घाट पर लगातार निगरानी रखे हुए है ताकि देव दिवाली के दौरान कोई भी नियमों का उल्लंघन न करे।
नमामि गंगे और नगर निगम ने चलाया स्वच्छता अभियान देव दिवाली की पूर्व संध्या पर नमामि गंगे और नगर निगम वाराणसी ने मिलकर एक विशेष स्वच्छता अभियान चलाया। यह अभियान सिंधिया घाट से मणिकर्णिका घाट तक चलाया गया। इस दौरान घाटों की सफाई के साथ-साथ गंगा की स्वच्छता को लेकर जनजागरूकता का संदेश दिया गया। नमामि गंगे के सदस्यों ने श्रद्धालुओं और पर्यटकों को गंगा और घाटों को स्वच्छ रखने की शपथ भी दिलाई। उद्देश्य यह है कि जो लोग दुनिया भर से देव दिवाली देखने काशी आएं, वे स्वच्छ और सुंदर वाराणसी की छवि लेकर लौटें।