मेरठ में वोटर लिस्ट का बड़ा शुद्धिकरण शुरू: 5 लाख से अधिक मतदाताओं की जानकारी संदिग्ध,
पहचान न होने पर नाम कटेंगे
3 days ago
Written By: Aniket Prajapati
निर्वाचन आयोग की कड़ी निगरानी में मेरठ जिले में एसआईआर (स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन) के तहत वोटर लिस्ट का व्यापक शुद्धिकरण चल रहा है। चार नवंबर से शुरू हुई इस प्रक्रिया में सात विधानसभा क्षेत्रों में पाँच लाख से अधिक मतदाताओं को संदिग्ध करार दिया गया है। अधिकारियों का कहना है कि इन सभी को नोटिस भेजे जाएंगे और यदि वे अपनी पहचान व पते से जुड़े साक्ष्य पेश नहीं कर पाएंगे तो उनके नाम स्थायी रूप से मतदाता सूची से हटा दिए जाएंगे। जिले में अब तक करीब 94 प्रतिशत मतदाताओं की जानकारी अपडेट की जा चुकी है, पर बड़ी संख्या में नाम स्थल पर नहीं मिले, कुछ मृत पाए गए और कई दूसरे जिलों में चले गए।
संदिग्ध मतदाताओं की संख्या और कारण
प्रक्रिया में मिल रहे आंकड़ों के अनुसार कई नाम ऐसे हैं जिनके घर खाली मिले या सम्बंधित व्यक्ति वहां नहीं मिला। इन्हें संदिग्ध श्रेणी में रखकर आगे की सत्यापन प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। करीब 33 हजार मतदाताओं ने एसआईआर फॉर्म तो प्राप्त किया, लेकिन उसे वापस जमा नहीं किया — यह भी नाम कटने का बड़ा कारण बन सकता है। प्रशासन ने स्पष्ट किया है कि सत्यापन न होने पर संबंधित नामों को ड्राफ्ट से हटा दिया जाएगा।
कैंट और सरधना की स्थिति गंभीर
सबसे प्रभावित कैंट विधानसभा क्षेत्र है, जहां लगभग 1.20 लाख नाम हटने की स्थिति में बताये जा रहे हैं। वहीं सरधना क्षेत्र में करीब 82 हजार से अधिक मतदाताओं के नाम पर संकट मंडरा रहा है। इन क्षेत्रों में विशेष तौर पर लोगों को नोटिस भेजे जाएंगे और वे समय पर अपने दस्तावेज जमा न करने पर सूची से हट सकते हैं।
ड्राफ्ट, आपत्ति और नोटिस की समय-सारणी
निर्वाचन आयोग 16 दिसंबर को वोटर लिस्ट का ड्राफ्ट प्रकाशित करेगा। ड्राफ्ट प्रकाशित होने के बाद 15 जनवरी तक दावा-आपत्ति स्वीकार की जाएगी। इसके अलावा प्रशासन 16 दिसंबर से 7 फरवरी 2026 के बीच बड़े पैमाने पर संदिग्ध मतदाताओं को नोटिस भेजकर अंतिम सत्यापन करेगा — यह आखिरी मौका होगा जिनके पास अब तक पहचान प्रमाण नहीं हैं।
अंतिम बूथ दिवस — सुबह 10 से 2 बजे तक बीएलओ मौजूद
जिला प्रशासन ने रविवार को आयोजित अंतिम बूथ दिवस को अहम करार दिया है। इस दिन बीएलओ सुबह 10 बजे से दोपहर 2 बजे तक अपने बूथों पर तैनात रहेंगे। जो लोग अभी तक गणना फॉर्म या दस्तावेज जमा नहीं कर पाए हैं, वे उसी दिन जाकर अपना फॉर्म, पता-प्रमाण या नाम-संशोधन करवा सकते हैं। साथ ही परिवार के नए सदस्यों को जोड़ने का यह अंतिम मौका भी है। एडीएम प्रशासन व उप जिला निर्वाचन अधिकारी सत्यप्रकाश सिंह ने सभी मतदाताओं से अपील की है कि वे इस अंतिम अवसर का पूरा लाभ उठाएँ। उन्होंने चेतावनी दी कि लापरवाही करने पर नाम कटने के बाद उसे फिर से जोड़ना लंबी और जटिल प्रक्रिया होगी। इसलिए समय पर पहचान व पते के दस्तावेज प्रस्तुत करना अनिवार्य है।